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UP Nikay Chunav: जहां एक महीने पहले हुई थी माफिया ब्रदर्स की हत्या, देखें वहां खिला कमल या फिर चली साईकिल या हाथ ने मारी बाजी

Prayagraj: प्रयागराज में भाजपा ने जरूर मेयर पद पर कब्जा किया है लेकिन अतीक के गढ़ चकिया में पार्षद पद पर सपा के प्रत्याशी ने जीत हासिल की है.

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अतीक अहमद और अशरफ (फाइल फोटो)

UP Nikay Chunav: यूपी निकाय चुनाव में सभी जिलों में शानदार प्रदर्शन करने के साथ ही भाजपा ने प्रयागराज के उस इलाके में भी अपना विजयी झंडा गाड़ा है, जहां एक महीने पहले ही माफिया ब्रदर्स यानी अतीक अहमद और अशरफ की हत्या हुई थी. इसका मतलब साफ है कि यहां माफिया ब्रदर्स की हत्या के बाद भी भाजपा के वोटों में कोई फर्क नहीं पड़ा. हालांकि अतीक के गढ़ चकिया में सपा के पार्षद प्रत्याशी ने जीत हासिल की है.

यहां से भाजपा के उमेश चंद्र केसरवानी ने मेयर पद का चुनाव जीता है. उन्होंने 129,221 वोटों के बड़े अंतर से जीत दर्ज की है और सपा के प्रत्याशी को मात दी है. वहीं सदन में सबसे अधिक पार्षद भी भाजपा के ही होंगे. जबकि अतीक की हत्या के बाद सपा और बसपा ने यहां से चुनाव जीतने के लिए ताल ठोकी थी और मुस्लिम वोटों को साधने की पूरी जुगत भिड़ाई थी, लेकिन तब भी सपा के मेयर प्रत्याशी अजय श्रीवास्तव को दूसरे नम्बर से ही संतोष करना पड़ा. अजय को 58 हजार 19 वोट मिले हैं. तो वहीं कांग्रेस के उम्मीदवार को 36 हजार 733 मत प्राप्त हुए हैं. और बसपा के प्रत्याशी को 40 हजार 176 मत की प्राप्ति हुई है.

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अतीक के गढ़ में सपा ने पाई विजय

अब अगर बात अतीक के गढ़ चकिया की तो यहां पर सपा के प्रत्याशी ने पार्षद पद पर विजय प्राप्त की है. इस तरह से प्रयागराज नगर निगम में कुल 16 पार्षद सपा के होंगे, तो वहीं सबसे ज्यादा प्रत्याशी भाजपा के बने हैं. यहां से भाजपा के कुल 56 प्रत्याशी जीते हैं और बसपा के मात्र दो प्रत्याशी ही विजयी हो सके हैं. कांग्रेस के चार प्रत्याशी जीते हैं तो वहीं असदुद्दीन ओवैसी की पार्टी AIMIM के दो प्रत्याशी चुनाव जीते हैं. इसके साथ ही 20 निर्दलीय प्रत्याशियों ने भी जीत हासिल की है और वे भी सदन नें बैठेंगे.

15 अप्रैल को हुई थी माफिया ब्रदर्स की हत्या

बता दें कि 15 अप्रैल को अतीक और उसके भाई अशरफ पर बदमाशों ने उस वक्त गोलियां बरसा दी थी, जब दोनों को पुलिस कस्टडी में प्रयागराज के एक अस्पताल में मेडिकल के लिए ले जाया जा रहा था. इस घटना में दौनों की मौत हो गई थी. दोनों बसपा के पूर्व विधायक राजू पाल की हत्या के अहम गवाह उमेश पाल की हत्या का आरोप था. इसी मामले में अतीक की बीवी शाइस्ता अभी भी फरार है.

-भारत एक्सप्रेस

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